भारत में समाजवादी चिंतन परम्परा में डॉ. एन एस रॉय का नाम बहुत आदर के साथ लिया जाता है। उन्होनें समाजवाद की सैद्धान्तिक व्याख्या की तथा उसके प्रचार प्रसार के लिये अथक प्रयास भी किये। उन्होनें नव मानववाद के नवीन एवं मौलिक सिद्धांत का प्रतिपादन किया। उन्होंने समाज में नैतिक मूल्यों के प्रतिष्ठापन का आग्रह किया तथा साम्यवाद में अधिनायकवादी प्रकृतियों के समावेश का विरोध किया। उनके द्वारा प्रतिपादित नवमानववाद का राजनीतिक चिंतन के क्षेत्र में एक अनुपम योगदान माना जाता है।